Thursday 15 December 2011

प्रेस विज्ञप्ति  विषय- कपिल सिब्बल यां इन्टरनेट सेन्सरशिप के खिलाफ आवाज़ उठाने पर होगा क्रिमिनल केस दर्ज 

आज से ठीक 10 दिन पहले 6 दिसम्बर को केंद्रीय मंत्री कपिल सिब्बल जी ने इन्टरनेट और सोशल नेटवर्किंग साईट्स पर सेंसर लगाने का एक तुगलकी फरमान जारी किया. जिसके बाद देश में,और खासकर युवाओ में भारी रोष दिखा,और जी उन्होंने फेसबुक,ट्विटर और विभिन्न इन्टरनेट के माध्यमो से प्रकट करने का प्रयास भी किया. लेकिन हमे लगा की हमे युवाओ के इस संदेश को कपिल सिब्बल जी तक पहुंचना चाहिए  ,जिसके लिए हम दिनांक 7 दिसम्बर को कुछ ग्रीटिंग्स जिन पर "गेट वेल सून" और "हमे अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता का हक़ नही है" और गुलाब के फूल के साथ पहुंचे. अभी हम घर के आगे खड़े ही हुए थे की हमे पुलिस द्वारा बर्बरतापूर्वक गिरफ्तार कर लिया गया और हमारे ऊपर केस दर्ज कर दिया गया.देश के किसी भी कानून में न ही फूल देना और न ही अपने सन्देश को  शांतिपूर्वक रखना कोई अपराध है. इसलिए हमने इन्टरनेट सेन्सरशिप और इस सरकार के इशारे पर दर्ज हुए केस के खिलाफ जंतर मंतर पर अनशन पर जाने का फैसला किया. जिसकी सुचना हमने 8 दिसम्बर को थाना संसद मार्ग में दी और उसके एवज में हमसे एक अंडरटेकिंग भरवाया गया. दिनांक 9 दिसम्बर को 11 बजे हमने अपना अनशन जंतर मंतर पर चालू करना था,लेकिन सुबह 9 बजे मेरे घर पुलिस वाले पहुँच गए और मेरी पूछताश करने लगे,उसके बाद मुझे उन पुलिस वालो का फ़ोन आया,और मुझसे मेरी लोकेशन और मेरे साथ कितने लोग है ये पूछा गया.अनशन से ठीक 2 घंटे पहले पुलिस पहुंचना कई शंकाए पैदा कर रहा था,इन्ही शंकाओ के बीच 11 बजे से हमने अपना अनशन चालू किया ही था की ठीक 12 बजते ही वह के ऐसीपी मेरे पास आये और कहा की आपकी परमिशन को रद्द कर दिया गया है. हमारे कारन पूछने पर हमे बिना कोई जवाब दिए गिरफ्तार कर लिया गया और रात को 8 बजे तक हिरासत में रखा गया. उसके बाद 11 दिसम्बर को श्री अन्ना हजारे जी जंतर मंतर पर अनशन पर बैठे थे ,जिनके समर्थन में हम सुबह 10 बजे से वह थे,लेकिन लगभग 4 बजे अचानक ऐसीपी, तिलक मार्ग की नजर मुझ पर पड़ी और उन्होंने मुझे तुरंत वह से जाने को कहा . हमारे कारन पूछे जाने पर हमे बिना कुछ कहे गिरफ्तार कर के  संसद मार्ग थाने ले जाया गया,और रात तक हिरासत में रखा गया. ये 4 दिनों में हमारी तीसरी गिरफ़्तारी थी. लेकिन हमे रिहा करने से पहले कुछ उच्च अधिकारिओ ने जो कहा उसे सुनकर हमारे हमारे होश उड़ गये और मै अपने आप को बहुत आसुरक्षित महसूस कर रहा हूँ. उस उच्च पुलिस अधिकारी ने हमे कहाँ की जबसे आपने कपिल सिब्बल के खिलाफ  अभियान चालू किया है हमे गृह मंत्रालय से आदेश है की जिस भी सार्वजानिक स्थान,मीटिंग,रैली,सभा यां कार्यक्रम में आपको देखा जाये तुरंत गिरफ्तार कर लिया जाए. और अगर आप कपिल सिब्बल के खिलाफ अपना अभियान जारी रखते है तो हमे सरकार के आदेशानुसार आपको  क्र्मिनल  केस दर्ज करके लम्बे समय के लिए जेल में डाल दिया जाएगा और आपके परिवार वालो का भी परेशान किया जायेगा, इसलिए आप कपिल सिब्बल के खिलाफ अगला कोई भी कार्यक्रम करने से पहले इस बात का ध्यान रख लेना.

             
हम ये पूछना चाहते है की पहले सरकार द्वारा निजी मोबाईल से 200 SMS से ज्यादा पर प्रतिबन्ध,फिर इन्टरनेट पर सेन्सरशिप और फिर स्वेंधानिक रूप से विरोध करने वालो सत्ता के बल पर दबाने का प्रयास क्या भारत को आघोषित आपातकाल की तरफ ले जाने का प्रयास तो नही है.क्या सरकार द्वारा इन कुटिल प्रयासों से युवाओ की आवाज को कुचला जायेगा. अगर ऐसा है तो हम इस चुनोती को स्वीकार करते है और इस विज्ञप्ति के माध्यम से घोषणा करते है की अब इन कार्यक्रमों को और गति और जोर-शोर से उठाया जायेगा. इस मामले में जिस भी तरीके से हमारे साथ बर्ताव किया गया,इसकी सूचना हमने पूरे विस्तार के साथ इसे माननीय राष्ट्रपति जी को दी है. साथ ही साथ आगामी दिनों में इन्टरनेट सेन्सरशिप के खिलाफ हम प्रदर्शन, पोस्टर अभियान, कॉलेजेस में सेमिनार्स और ऑनलाइन कार्यक्रम चलाएंगे आगामी दिनों में हम अपने इस कार्यक्रम को जारी रखेंगे और तब तक करेंगे, जब तक सरकार कपिल सिब्बल के इस फैसले को खंडन कर के वापिस लेने का ऐलान नही करती.
Tajinder Pal Singh Bagga
President
9212640865









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